भारतीय संविधान विश्व का सबसे बड़ा लिखित संविधान है भारत का संविधान जितना कठोर है उतना ही लचीला भी है।
भारतीय संविधान के निर्माण में 2 वर्ष 11 माह 18 दिन का समय लगा था भारतीय संविधान में कुल 395 अनुच्छेद 12 अनुसूची(पहले 8 थी) तथा 22 भाग हैं।
भारतीय संविधान की अनुसूचियां-
अनुसूचियों को संविधान में शामिल नहीं किया गया है, बल्कि उन्हें एक अलग डॉक्यूमेंट के रूप में रखा गया है। हालांकि, यह ध्यान दिया जाना चाहिए कि भारतीय संविधान में नहीं हैं, वे संविधान का हिस्सा हैं।
भारतीय संविधान के निर्माण के समय केवल 8 अनुसूचियां थी बाद में संविधान में संशोधन करके और सूचियों की संख्या कुल 12 हो गई।
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1. पहली अनुसूची-
पहली अनुसूची में राज्यों के नाम और उनके क्षेत्रीय अधिकार क्षेत्र को सूचीबद्ध करता है,तथा केंद्र शासित प्रदेशों के नाम और उनके क्षेत्रीय विस्तार को सूचीबद्ध करता है।
2. दूसरी अनुसूची-
यह परिलब्धियों,वेतन,भत्तों और विशेषाधिकारों से संबंधित प्रावधानों से संबंधित है।
3. तीसरी अनुसूची-
यह अनुसूची पदाधिकारियों के शपथ या प्रतिज्ञान के रूप शामिल किया गया है।
4. चौथी अनुसूची-
यह अनुसूची राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को राज्यसभा में सीटों के आवंटन से संबंधित प्रावधानों से संबंधित है।
5. पांचवी अनुसूची-
इसमें भारत में अनुसूचित क्षेत्रों और अनुसूचित जनजातियों के प्रशासन और नियंत्रण से संबंधित प्रावधान को शामिल किया हैं।
6. छठी अनुसूची-
यह अनुसूची ,असम,मेघालय ,त्रिपुरा मिजोरम जैसे राज्य में आदिवासी क्षेत्रों के प्रशासन से संबंधित प्रावधानों से संबंधित है।
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7. सातवीं अनुसूची-
इसमें तीन सूचियाँ हैं जो संघ और राज्यों के बीच शक्तियों का विभाजित करती हैं।
सूची I – संघ सूची 100 विषय
सूची II – राज्य सूची 61 विषय
सूची III – समवर्ती सूची 52 विषय
8. आठवीं अनुसूची-
इसमें 22 भारतीय भाषाओं की सूची शामिल है जिन्हें भारतीय संविधान द्वारा मान्यता प्राप्त है पहले इसमें 14 भाषाएं थी।
असमिया,बंगाली,बोडो,डोगरी(डोंगरी),गुजराती, हिन्दी,कन्नड़,कश्मीरी,कोंकणी,मैथिली(मैथिली), मलयालम,मणिपुरी,मराठी,नेपाली,ओरिया,पंजाबी,संस्कृत,संथाली,सिंधी,तमिल,तेलुगू,उर्दू।
9. नौवीं अनुसूची-
नौवीं अनुसूची को पहला संविधान संशोधन 1951 में जोड़ा गया था यह अनुसूची भूमि सुधार और जमींदारी व्यवस्था के उन्मूलन से संबंधित राज्य विधानमंडलों द्वारा पारित अधिनियमों और विनियमों का वर्णन इस अनुसूची के तहत किया गया है।
10. दसवीं अनुसूची-
दसवीं अनुसूची 52 वें संविधान संशोधन 1985 में जोड़ा गया यह दलबदल विरोधी कानून से संबंधित प्रावधानों से संबंधित है यानी संसद और राज्य विधानमंडल के सदस्यों को दलबदल के आधार पर अयोग्य घोषित किया जा सकता है।
11. ग्यारहवीं अनुसूची-
73वें संविधान संशोधन 1992 में जोड़ा गया इस अनुसूची में पंचायतों की शक्ति, अधिकार और जिम्मेदारियों से संबंधित मामलों से संबंधित है इसमें कुल 29 विषय है।
12. 12वीं अनुसूची-
74 वें संविधान संशोधन 1992 में जोड़ा गया यह नगर पालिकाओं की शक्ति, अधिकार और जिम्मेदारियों से संबंधित मामलों को इस अनुसूची में वर्णित किया गया है इसमें कुल 18 विषय है।
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